क्या शुगर के मरीज़ गाजर का सेवन कर सकते है?- जानिए एक सीनियर डायबिटीज एक्सपर्ट से (Can sugar patients eat carrots? – Know form a senior Diabetes Expert)

Last updated on फ़रवरी 1st, 2023

सर्दियों में गाजर सबसे पसंदीदा सब्जियों में से एक है जो न सिर्फ कई व्यंजनों के रूप में खाई जाती है बल्कि न्यूट्रीशन से भरपूर है। गाजर का हलवा हो या सलाद में इस लाल रंग को शामिल करना, यह हमेशा से एक लोकप्रिय भोजन रहा है। लेकिन अधिकतर शुगर के मरीज़ इस दुविधा में रहते हैं कि उनके लिए कौनसा खाना अच्छा है? इसी क्रम में क्या शुगर के मरीज़ गाजर का सेवन कर सकते हैं? इस बारे में हम इस ब्लॉग में जानेंगे।

वैसे इस सवाल का जवाब है “हाँ”। डायबिटिक लोगों के लिए गाजर या अन्य सब्जियां जैसे ब्रोकोली सुरक्षित मानी जाती हैं। ये बिना स्टार्च वाली सब्जियां हैं। मधुमेह रोगियों (और सभी लोगों के लिए) के लिए, गैर-स्टार्च वाली सब्जियाँ स्वस्थ आहार का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं। हालांकि डायबिटिक डाइट में कार्ब की मात्रा पर ध्यान ज़रूर देना चाहिए। कार्ब डाइट में भी भरपूर मात्रा में विटामिन, खनिज और यहां तक ​​कि फाइबर भी होते हैं।

खाद्य पदार्थों, विशेष रूप से गैर-स्टार्च वाले खाने से शुगर लेवल बढ़ने की संभावना बहुत कम हो जाती है। इसलिए जानते हैं कि क्या गाजर मधुमेह रोगियों के लिए अच्छा है?

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गाजर की न्यूट्रीशनल वेल्यू (Carrot’s Nutritional Value)

गाजर की ग्लाइसेमिक इंडेक्स वैल्यू 55 से नीचे है, जो कि कम ग्लाइसिमिक इंडेक्स में आता हैं। यह बताता है कि गाजर खाने से शुगर लेवल अचानक से स्पाइक नहीं होते। अतः यह शुगर पेशेंट के लिए अच्छी मानी जाती है।

गाजर में मौजूद न्यूट्रीशन में शामिल हैं:

  • डाइटरी फाइबर: 2.8 ग्राम
  • चीनी/शुगर: 4 ग्राम

हालांकि इसमें चीनी मौजूद होती है लेकिन यह इतनी नुकसानदायक नहीं होती। इसकी मुख्य वजह है इसमें मौजूद डाइटरी फाइबर। फाइबर शरीर में ग्लूकोज़ के अवशोषण को कम कर देता है जिसकी वजह से ब्लड शुगर लेवल नहीं बढ़ते। साथ ही, फाइबर आपको अधिक समय तक भूख नहीं लगने देता जिससे वैट या वज़न भी नियंत्रित रहता है। गाजर में 10% कार्बोहाइड्रेट, उन्हें कम कैलोरी वाला भोजन बनाता है जो किसी भी डायबिटीज़ वाले व्यक्ति के लिए सही है।

गाजर में “बीटा-कैरोटीन” भी होता है। यह गाजर को चमकीला नारंगी रंग प्रदान करता है। इसकी प्रोसेसिंग में विटामिन ए होता है जो ब्लड शुगर को नियंत्रित करता है। गाजर में मौजूद एंटीऑक्सीडेंट फ्री रेडिकल्स से लड़ते हैं जो अनेक हृदय संबंधी समस्याओं और कैंसर को रोकने में मदद करते हैं। हालांकि गाजर आयरन या कैल्शियम जैसे खनिजों का बहुत अच्छा स्रोत नहीं है लेकिन गाजर में मौजूद बीटा-कैरोटीन आयरन के अवशोषण में काफी मदद करता है।

गाजर का जीआई स्कोर इस बात पर निर्भर करता है कि उसे किस तरह बनाया गया है। जाने इस टेबल में की कैसे गाजर से बने हर व्यंजन का जीआई अलग-अलग होता है:

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गाजर का ग्लाइसिमिक इंडेक्स (Carrot’s Glycemic Index)

गाजर का ग्लाइसिमिक इंडेक्स
बनाने का तरीका जीआई स्कोर परोसने की मात्रा (ग्राम में) कार्ब्स (ग्राम में)
कच्ची और कटी गाजर 35 80 6
उबली हुई गाजर 33 80 5
कच्ची पूरी गाजर 16 80 8
नारियल के आटे के साथ बना गाजर का केक 36 60 23
गाजर का जूस 43 250 23

सारांश

गाजर एक बिना स्टार्च वाली सब्जी है। इसमें आवश्यक विटामिन, खनिज, फाइबर और एंटीऑक्सीडेंट भी भरपूर होते हैं। गाजर में हाई फाइबर होता है। इस प्रकार, यह धीमी गति से कार्बोहाइड्रेट को अवशोषित करने में सहायता करता है। यह भोजन के बाद के ग्लूकोज स्पाइक्स को भी नियंत्रित करने में सहायता करता है।

डाइटीशियन सीमा गोयल से जानें “क्या गाजर शुगर पेशेंट के लिए अच्छी है?” (“Is carrot good for Sugar Patient?” – Know from the Seema Goel)

मधुमेह वाले लोगों के लिए गाजर के फ़ायदे (Benefits of carrot for Diabetes Patients)

गाजर में मौजूद फाइबर वैट मेनेजमेंट में भी मदद करता है। फाइबर आपको ज़्यादा देर तक भरा हुआ रखता है जिससे आपको बार-बार भूख नहीं लगती। मधुमेह के रोगियों में डायबिटिक रेटिनोपैथी जैसी आंखों की समस्याओं का खतरा अधिक होता है। गाजर विटामिन ए से भरपूर होने के कारण डायबिटीज़ के रोगियों के लिए अच्छा माना जाता है व आँखों के स्वास्थ्य के लिए अच्छा होता है।

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गाजर में मौजूद पोषक तत्वों की जानकारी (Information about nutritional elements of Carrot)

गाजर में निम्नलिखित पोषक तत्व मौजूद होते हैं:

विटामिन ए (Vitamin A)

एक अध्ययन में, शोधकर्ताओं ने नॉर्मल ब्लड शुगर लेवल को मेनेज करने में विटामिन ए के महत्व की जाँच की। उन्होंने देखा कि विटामिन ए की कमी वाले प्रतिभागियों में अग्नाशयी β-कोशिकाओं की कमी देखी गई। इसके अलावा, शोधकर्ताओं ने इंसुलिन के स्राव और बार-बार होने वाले हाई शुगर लेवल में कमी देखी। इन परिणामों से पता चलता है कि डायबिटीज़ में विटामिन ए ब्लड शुगर मेनेजमेंट में एक प्रमुख भूमिका निभाता है।

स्वस्थ कार्ब्स (Healthy Carbs)

डायबिटीज़ के इलाज का महत्वपूर्ण उद्देश्य है शुगर लेवल्स को मेनेज करना। शुगर लेवल पर कार्ब्स का बहुत असर पड़ता है इसलिए व्यक्ति को अपने लिए ज़रूरी कार्ब्स का ही सेवन करना चाहिए। स्वस्थ कार्ब्स आपके शुगर लेवल्स को नहीं बढ़ाते और डायबिटीज़ को नियंत्रित रखते हैं।

उदाहरण के लिए, एक मध्यम कच्ची गाजर में लगभग 6 ग्राम कार्ब्स होते हैं। गाजर से प्राप्त कार्ब्स लाभकारी होते हैं। सीडीसी की रिपोर्ट के अनुसार, एक डायबिटिक व्यक्ति को मिलने वाली कुल कैलोरी का लगभग 45% कार्ब्स से मिलन चाहिए।

सही शुगर लेवल्स बनाए रखने के लिए कार्ब्स की मात्रा बहुत ज़रूरी होती है। उचित शुगर लेवल्स को बनाए रखते हुए मधुमेह की कई जटिलताओं के जोखिम या रिस्क से बचा जाता है, जिनमें शामिल हैं:

  • दिल की समस्याएं जैसे स्ट्रोक
  • आंखों की समस्याएं जैसे दृष्टि हानि
  • गुर्दे से संबंधित समस्याएं या किडनी प्रॉब्लम

विटामिन बी 6 (Vitamin B 6)

विटामिन बी कॉम्प्लेक्स मेटाबोलिज़्म में मदद करता है। एक अध्ययन के अनुसार, यह पाया गया कि आमतौर पर टाइप 2 डायबिटीज़ रोगियों में बी1 और बी6 की कमी पाई जाती है। इसके अलावा, डायबिटिक नेफ्रोपैथी की शुरुआती प्रगति आमतौर पर कम बी6 स्तरों के वजह से होती है। इस प्रकार  विटामिन बी6 की कमी डायबिटीज़ पर नकारात्मक प्रभाव डालती है।

फाइबर या रेशा (Fiber)

आहार फाइबर की मौजूदगी किसी भी डायबिटिक व्यक्ति में ब्लड शुगर लेवल्स को नियंत्रित करने में मददगार होती है।  अध्ययनों के अनुसार, अपनी डाइट में फाइबर शामिल करने से टाइप 2 डायबिटीज़ के विकास और उससे जुड़ी समस्याओं को कम किया जा सकता है। इसके अलावा फाइबर fasting और pp शुगर लेवल्स को कम करने में मदद करता है।

कैरोटीनॉयड (Carotenoid)

गाजर कैरोटीनॉयड का एक समृद्ध स्रोत है। ये पिगमेंट (यौगिक) आहार में पीले और नारंगी रंग के फलों और सब्जियों में पाए जाते हैं। आँखों में भी एक वर्णक मौजूद होता है जिसे कैरोटेनॉयड्स के रूप में जाना जाता है। इन कैरोटेनॉयड्स की एंटीऑक्सीडेंट क्रिया से डायबिटिक व्यक्तियों में रेटिना को क्षतिग्रस्त होने से बचाया जा सकता है।

अध्ययनों से यह भी पता चलता है कि कैरोटीनॉयड डायबिटिक रेटिनोपैथी को रोकने व कम करने में मदद कर सकता है। मधुमेह रेटिनोपैथी एक मेडिकल प्रॉब्लम है जो दृष्टि हानि का कारण बनती है जो डायबिटीज़ से संबंधित एक आम जटिलता है।

अल्फा और बीटा कैरोटीन के हाई लेवल्स वाली डाइट को अपने खाने में शामिल करने से टाइप 2 डायबिटीज़ के रिस्क को कम किया जा सकता है। प्रति 100 ग्राम गाजर में मौजूद कैरोटीन की मात्रा है:

  • 3,477 माइक्रोग्राम अल्फा-कैरोटीन
  • 8,285 माइक्रोग्राम बीटा कैरोटीन

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सारांश

फल और सब्जियां महत्वपूर्ण पोषक तत्वों से भरपूर होती है जो एक स्वस्थ आहार या हेल्दी डाइट बनाती है। गाजर एक ऐसी ही सब्जी का उदाहरण है, जो अत्यधिक पौष्टिक और पोषक तत्वों से भरपूर है। एक मध्यम आकार की गाजर में केवल 4 ग्राम सुपाच्य कार्बोहाइड्रेट होते हैं। साथ ही, यह लो जीआई फूड है। कम कार्ब्स और कम जीआई स्कोर वाले खाद्य पदार्थ ग्लूकोज के स्तर पर बहुत अधिक प्रभाव नहीं डालते हैं इसलिए डायबिटीज़ के लिए सुरक्षित माने जाते हैं।

गाजर की ग्लाइसेमिक इंडेक्स वैल्यू (Carrot’s glycemic index value)

एडीए के अनुसार 55 या उससे कम स्कोर होने पर इन खाद्य पदार्थों को लो जीआई फूड में शामिल किया जाता है। इस प्रकार उबली हुई गाजर का जीआई 33 होता है, जबकि कच्ची गाजर का स्कोर और भी कम होता है। इस प्रकार यह एक लो जीआई फूड है जो शुगर लेवल को स्पाइक नहीं करता है।

साथ ही, एडीए एक दिन में कम से कम तीन से पांच सब्जियों का सेवन करने का सुझाव देता है। इनके अनुसार एक सर्विंग में शामिल होनी चाहिए:

  • एक कप कच्ची सब्जियां
  • आधा कप पकी हुई सब्जियां
  • 55 या उससे कम जीआई वाली गैर-स्टार्च वाली सब्जियां,

यह शुगर पेशेंट को अपने ग्लूकोज के स्तर को मेनेज करने में सहायता कर सकती हैं। अन्य गैर-स्टार्च वाली सब्जियाँ जो मधुमेह रोगियों के लिए सुरक्षित हैं उसमें शामिल है:

  • पत्तेदार साग, जैसे केल, ब्रोकोली, अजवाइन, पालक
  • काली मिर्च
  • खीरे
  • पत्ता गोभी
  • टमाटर
  • मशरूम
  • ओकरा
  • प्याज
  • एस्परैगस
  • फूलगोभी

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मधुमेह रोगियों के लिए गाजर खाने के तरीके (Ways to eat carrot for diabetic Patients)

किसी व्यक्ति के दैनिक आहार में गाजर को शामिल करने के कुछ मज़ेदार तरीके हैं:

गाजर की सब्जी: 2 गाजर को काट कर उसमें एक प्याज काट लें। दोनों को पकाएं और ½ कटोरी ताजी हरी मटर डालें और थोड़े से मसाले डालें। आपकी रंग-बिरंगी सब्जी तैयार है।

गाजर का सलाद: कुछ कद्दूकस की हुई कच्ची गाजर, अंकुरित मूंग, प्याज़, कटे हुए टमाटर, थोड़ी हरी मिर्च और हल्का सा काला नमक मिलाकर पौष्टिक सलाद बना लें व इसका मज़ा लें।

गाजर का सूप: लाल गाजर से टमाटर का सूप तैयार करें। टमाटर, गाजर, प्याज, पालक, थोड़ा लहसुन, काला नमक और थोड़ी सी काली मिर्च डालकर पकाएं। यह सूप निश्चित रूप से वज़न घटाने में भी सहायता करता है।

गाजर कितनी मात्रा में और कितनी बार खाएं? (How much & How frequently eat carrots?)

गाजर एक बहुमुखी और स्वास्थ्यवर्धक सब्जी है। लोग उन्हें दिन के किसी भी समय खा सकते हैं। विटामिन ए और फाइबर की दैनिक खुराक प्राप्त करने के लिए निम्नलिखित तरीके से भोजन में 1-2 गाजर जोड़ कर आप अपने पोषक तत्व प्राप्त कर सकते हैं।

  • स्वस्थ ABC रस (सेब + चुकंदर + गाजर का रस) का उपयोग करके दिन की शुरुआत करें
  • ताजा सलाद में कद्दूकस की हुई गाजर शामिल करें। इसे लंच में लें।
  • रात के खाने के समय गाजर-चुकंदर का सूप लें।

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अधिक मात्रा में गाजर खाने के साइड-इफ़ेक्ट्स (Side effects of eating carrot in large Quantity)

गाजर के अत्यधिक सेवन से विटामिन ए की अधिकता हो सकती है। यह उन लोगों में विशेष रूप से होता है जो अपने विटामिन ए सप्लीमेंट के अलावा गाजर का सेवन करते हैं। गाजर के अधिक सेवन से कैरोटेनीमिया हो सकता है। इससे त्वचा में पीलापन आ जाता है। गाजर का ज्यादा सेवन कब्ज भी पैदा कर सकता है।

मधुमेह रोगियों के लिए कुछ हेल्दी डाइट टिप्स (Healthy diet tips for diabetic Patients)

मधुमेह रोगियों को अपने कार्ब सेवन को प्रति भोजन 1 कप या उससे कम तक सीमित रखना चाहिए।

ज़्यादातर उच्च फाइबर वाले कार्बोहाइड्रेट लेने की कोशिश करें जिससे यह आपके ब्लड शुगर में सुधार कर सके।

उच्च फाइबर वाले कार्बोहाइड्रेट में शामिल है ब्राउन राइस, बीन्स, साबुत अनाज की ब्रेड आदि।

पर्याप्त गैर-स्टार्च वाली सब्जियों का सेवन करें। शुगर के मरीज़ों को अपनी कम से कम ½ प्लेट को इस प्रकार की पौष्टिक सब्जियों से भरना चाहिए।

साथ ही एक हेल्दी डायबिटिक डाइट में आप फल और कम वसा वाले डेयरी उत्पाद को शामिल कर सकते हैं। लेकिन याद रखें कि इनको ज़्यादा मात्रा में शामिल न करें।

आधा गिलास कम वसा वाला दूध या एक मुट्ठी ताजा जामुन रात के खाने के बाद एक बेहतर ऑप्शन हो सकता है। आपनी डाइट में सूखे मेवे और फलों के रस को ना शामिल करें क्योंकी इसमें केंद्रित रूप में कार्ब्स (concentrated carbs) होते हैं।

मधुमेह रोगियों के लिए लीन प्रोटीन, प्रोटीन का सबसे बेहतर रूप है। एक हेल्दी डाइट में लगभग 1/4 प्लेट मछली या चिकन जैसे दुबले प्रोटीन को शामिल किया जा सकता है। इन्हें बेक कर के खाएं, इन्हें कभी भी फ्राई न करें क्योंकि इससे प्रोटीन जल जाएगा।

अधिक शक्कर या प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों का सेवन करने से शुगर लेवल पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। ये खाद्य पदार्थ वजन बढ़ाने का कारण भी बन सकते हैं और आपके पूरे स्वास्थ्य के लिए खराब साबित हो सकते हैं। इसलिए बेहतर व स्वस्थ जीवन जीने के लिए कम मात्रा में लो-कार्ब विकल्पों का चयन करें।

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सारांश

अन्य गैर-स्टार्च वाली सब्जियों सहित गाजर एक हेल्दी डायबिटिक डाइट है जो आपके संतुलित आहार को पूरा बनाती है। उनमें प्रचुर मात्रा में आवश्यक पोषक तत्व होते हैं जो किसी व्यक्ति के ग्लूकोज़ स्तर के लिए फायदेमंद होते हैं। ये पोषक तत्व विटामिन ए और फाइबर हो सकते हैं। एक मधुमेह व्यक्ति को अपने डाइट प्लान में सब्जियां, लीन प्रोटीन और साबुत अनाज शामिल करना चाहिए जो मधुमेह रोगियों के लिए अच्छा होता है और गाजर उसमें एक बेहतरीन विकल्प है। इसके अलावा अपने खाने से ब्लड शुगर को मेनेज करने के लिए किसी आहार विशेषज्ञ से परामर्श करें।

सामान्यतया पूछे जाने वाले प्रश्न:

गाजर खाने का सबसे अच्छा समय कौन सा है?

वैसे तो कच्ची सब्जियां खाने का कोई निश्चित समय नहीं होता है। आमतौर पर लोग गाजर का सेवन अपने लंच या डिनर के साथ करते हैं। दोपहर के भोजन के समय चुकंदर के साथ गाजर का सेवन करना अच्छा होता है क्योंकि चुकंदर में उच्च कैलोरी होती है। हालांकि रात में गाजर खाने से बचना चाहिए।

क्या रोज़ाना गाजर खाना अच्छा है?

गाजर का सेवन सीमित मात्रा में करना व्यक्ति के स्वास्थ्य के लिए अच्छा होता है। बहुत अधिक गाजर खाने से कैरोटेनीमिया नामक स्थिति हो सकती है। यह कुछ और नहीं बल्कि गाजर में पाए जाने वाले बीटा-कैरोटीन के जमने के कारण होने वाली स्थिति है जिसमें त्वचा में पीलापन आ जाता है।

एक दिन में कितने गाजर खाना अच्छा होता हैं?

एक दिन में औसतन 3-10 गाजर खाने की सलाह दी जाती है।

क्या गाजर पका कर खाने से उसके पोषक तत्व छिन जाते हैं?

गाजर में विटामिन की मात्रा वसा में घुलनशील होती है। इन विटामिनों में ए, ई और के शामिल हैं। यह हीट स्टेबल या ऊष्मा स्थिर होते हैं जिससे यह उबालने से क्षतिग्रस्त या नष्ट नहीं होते हैं। वास्तव में, पकाने से सब्जियों की कोशिका भित्ति को तोड़ने में मदद मिलती है जिससे अधिक पोषक तत्व आसानी से प्राप्त किये जा सकते हैं। 

संदर्भ:

https://www.healthline.com/health/diabetes/can-diabetics-eat-carrots

https://www.medicalnewstoday.com/articles/are-carrots-good-for-diabeticsLast Updated on by Dr. Damanjit Duggal 

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